मौसंबी का जूस सार्वाधिक लोकप्रिय जूसों में से एक है। ये विटामिन सी और पोटेशियम से समृद्ध है। इसके अलावा इसमें उच्च मात्रा में विटामिन सी, तांबा और आयरन भी मौजूद होते हैं। इसमें कम मात्रा में कैलोरी और वसा भी होती है। यह फाइबर, जस्ता और कैल्शियम का भी एक अच्छा स्रोत है। मौसंबी स्वादिष्ट होने के साथ ही इसका जूस इसके औषधीय प्रभावों के लिए भी काफी लोकप्रिय है।
आइए मौसंबी के फायदों और इसके नुकसान को विस्तारपूर्वक जानें :-
मूत्र संबंधी रोग के उपचार में -
पोटेशियम से समृद्ध होने के कारण मौसंबी मूत्र संबंधी विकारों जैसे सिस्टाइटिस के इलाज में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। सिस्टाइटिस से तत्काल राहत पाने के लिए मौसमी के जूस को पानी में उबालने के बाद ठंडा होने के एक घंटे के अंदर पी लें। इसमें मौजूद पोटेशियम गुर्दे और मूत्राशय की डिटॉक्सिफ़िकेशन प्रक्रिया को भी सुधारकर मूत्र मार्ग के अन्य संक्रमण को रोक सकता है।
कब्ज से राहत -
कब्ज से राहत पाने के लिए भी मौसंबी का इस्तेमाल किया जाता है। इसके रस में उपस्थित एसिड आंत से विषाक्त पदार्थों को निकालकर कब्ज की समस्या से भी राहत दिला सकता है। इसमें मौजूद फ्लैवोनोइड और पोटेशियम पेट में गड़बड़, पेचिश, दस्त की समस्या में भी प्रभावी है। ये लार ग्रंथियों से लार निकालकर पाचन में भी मदद करता है।
बालों के लिए -
मौसम्बी विटामिन सी, खनिज, और तांबे से समृद्ध होता है इसलिए मौसम्बी का रस बालों के लिए फायदेमंद होता है। मौसम्बी के रस में मौजूद तांबा मेलेनिन पिग्मेंट के निर्माण में सहायक है। मौसम्बी के रस से शैम्पू और कंडीशनर के बाद बालों को धोने से बची हुए गंदगी निकल जाती है और आपके बाल चमकदार और नर्म हो जाते हैं।
वजन कम करने में -
वजन कम करने में भी इसका उपयोग किया जा सकता है। मौसमी के जूस में कम वसा और कैलोरी होने के कारण यह वजन कम करने में भी मदद करता है। अतिरिक्त कैलोरी जलाने के लिए मौसमी के जूस और शहद को मिश्रित कर सकते हैं।
गर्भावस्था के दौरान -
गर्भवती महिलायें मौसमी का जूस पिएं क्योंकि इससे कैल्शियम बहुत ज्यादा होता है जो पेट में पल रहे बच्चे और माता दोनों के लिए लाभदायक होता है।
पौष्टिक अल्सर में -
मौसंबी के रस में मौजूद एसिड प्रणाली में क्षारीय प्रतिक्रिया करता है और गैस्ट्रिक की अम्लता को कम और पौष्टिक अल्सर से राहत देता है। सर्वोत्तम परिणामों के लिए मौसंबी और नींबू के रस को मिश्रित कर के पिएं।
प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में -
नियमित रूप से मौसंबी के जूस का सेवन दिल के कार्य में सुधार करके उचित रक्त परिसंचरण को सुनिश्चित करता है। इससे प्रतिरक्षा प्रणाली भी स्वस्थ रहती है। इससे आपको सर्दी-जुकाम से राहत मिलती है। इसके अलावा ये कोलेस्ट्राल को भी कम करता है।
मधुमेह के उपचार में -
मौसंबी का रस मधुमेह रोगियों के लिए फायदेमंद है। मधुमेह के इलाज के लिए आप दो छोटे चम्मच मोसंबी का रस, चार छोटे चम्मच आंवला का रस और 1 चम्मच शहद को एक साथ मिश्रित कर लें। अब इस मिश्रण का सुबह खाली पेट सेवन करें।
आँखों के लिए -
इसमें मौजूद एंटीऑक्सिडेंट और जीवाणुरोधी गुणों के कारण इसका रस आपकी आँखों को संक्रमण और मांसपेशियों की क्षति से बचा सकता है। सादा या नमक के पानी में मौसमी के जूस की कुछ बूंदों को मिलाकर अपनी आंखों को धोने से नेत्रश्लेष्मलाशोथ जैसे संक्रमण के इलाज में भी मदद मिलती है।
स्कर्वी के उपचार में -
स्कर्वी विटामिन सी की कमी के कारण मसूड़ों की सूजन, अक्सर फ्लू, सर्दी, और फटे हुए होंठ की समस्या होती है। मौसंबी का रस विटामिन सी से भरपूर है और स्कर्वी का इलाज करने में प्रभावी है।
त्वचा के लिए -
मौसम्बी के जूस में विटामिन सी और एंटीऑक्सीडेंट, एंटीबायोटिक और कीटाणुनाशक गुणों की मौजूदगी के कारण त्वचा के लिए लाभकारी है। इसका रस चेहरे के दाग धब्बे के इलाज में उपयोगी है। त्वचा के सूजन और दर्द को कम करने के लिए मौसम्बी के रस और अरंडी के तेल को मिश्रित कर के सूजन और दर्द पर लगाएं।
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